नैनीताल – उत्तराखंड हाई कोर्ट ने हरिद्वार स्थित शांतिकुंज के प्रमुख प्रणव पंड्या पर दुष्कर्म के आरोप मामले में जांच पूरी न करने पर हाईकोर्ट ने गृह सचिव को अवमानना नोटिस जारी किया है, हाई कोर्ट इस मामले की जांच पर नाराजगी जताई है, इसके साथ ही कोर्ट ने गृह सचिव को जवाब दाखिल करने के निर्देश दिए हैं, दरअसल मामले पर सुनवाई करते हुए हाईकोर्ट ने 3 माह के भीतर जांच पूरी कर रिपोर्ट कोर्ट में पेश करने का आदेश दिया था, निर्धारित समय में जांच पूरी ना किए जाने पर अवमानना याचिका दायर की गई थी.
मामला छत्तीसगढ़ की एक नाबालिग युवती का है जिसको उसके परिवार ने हरिद्वार स्थित शांतिकुंज के प्रमुख डॉ प्रणव पंड्या और उनकी पत्नी के यहां सेवा करने के लिए छोड़ा था, किशोरी का आरोप है कि प्रणव पंड्या ने उसके साथ कई बार दुष्कर्म किया जिसकी शिकायत उनकी पत्नी से की गई तो उन्होंने भी नाबालिक को डरा धमका कर शांत रहने की धमकी दी, इस मामले की जानकारी होने पर अधिवक्ता विवेक शुक्ला ने पूर्व में कोर्ट में जनहित याचिका दायर की थी.
मामले की गंभीरता को देखते हुए सुनवाई के बाद हाईकोर्ट ने सरकार को 3 महीने के अंदर जांच पूरी करने के निर्देश दिए थे, पर जांच की रफ़्तार बेहद सुस्त रही, जांच पूरी न होने पर अधिवक्ता याचिकाकर्ता ने अवमानना याचिका दायर की थी, जिस पर सुनवाई करते हुए न्यायमूर्ति शरद कुमार शर्मा की एकल पीठ ने गृह सचिव नितेश झा को अवमानना नोटिस जारी करते हुए जवाब दाखिल करने के निर्देश दिए.
इस मामले में दिल्ली में ज़ीरो एफआईआर दर्ज कराई गई थी, जिसके बाद मामले को हरिद्वार ट्रांसफर कर दिया गया था, फिलहाल मामले की जांच हरिद्वार पुलिस कर रही है. जांच टीम के कुछ सदस्यों के कोरोना पॉजिटिव होने के चलते जांच की गति धीमी है.