नई दिल्ली – भारत कोरोना के बड़े संकट के बाद अब बर्ड फ्लू की दस्तक से देश में एक नए संकट की शुरुआत इस नए साल में हो गयी है, केंद्र सरकार ने रविवार को स्पष्ट किया कि सात राज्यों – केरल, राजस्थान, मध्यप्रदेश, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, गुजरात और उत्तर प्रदेश में बर्ड फ्लू (Bird Flu) फैलने की पुष्टि हो गई है, वहीं दिल्ली तथा महाराष्ट्र के नमूनों की रिपोर्ट की प्रतीक्षा है. पशुपालन और डेयरी विभाग ने अपने एक बयान में कहा कि छत्तीसगढ़ के बालोद जिले से कुछ जंगली पक्षियों के किसी नमूने जिनकी पहले जांच की गयी थी उनमे बर्ड फ्लू के संक्रमण की पुष्टि नहीं हुई है.
हरियाणा के पंचकूला जिले के दो पोल्ट्री फार्म्स में एवियन इन्फ्लुएंजा (बर्ड फ्लू) के संक्रमण की पुष्टि हो गयी है जिसके बाद राज्य सरकार ने इसकी रोकथाम और जांच के लिए नौ टीमें तैनात कर दी है, और इन दोनों ही केंद्रों पर रोकथाम का अभियान जारी है. गुजरात के सूरत जिले और राजस्थान के सिरोही जिले में कौए और वन्य पक्षियों के नमूनों में एवियन इन्फ्लुएंजा की पुष्टि हुई है. बयान में कहा गया, ‘‘इसके अलावा कांगड़ा जिले (हिमाचल प्रदेश) से 86 कौओं तथा दो बगुलों की असामान्य मौत की खबरें आई हैं. ’’
केंद्र सरकार के अनुसार हिमाचल प्रदेश के ‘‘नाहन, बिलासपुर और मंडी (हिमाचल प्रदेश) से भी जंगली पक्षियों की असामान्य मौत की खबरें आई हैं और नमूने जांच के लिए प्रयोगशाला में भेज दिए गए हैं.’’ राज्य के पशु विभाग ने प्रभावित राज्यों को संक्रमण को और फैलने से रोकने के लिए परामर्श जारी किए हैं.बयान के मुताबिक, ‘‘अभी तक सात राज्यों (केरल, राजस्थान, मध्यप्रदेश, हिमाचल प्रदेश, हरियाणा, गुजरात और उत्तर प्रदेश) से बर्ड फ्लू की पुष्टि हुई है.’’
केंद्र ने कहा कि दिल्ली और महाराष्ट्र के नमूनों की रिपोर्ट का इंतजार है जिन्हें प्रयोगशाला में भेजा गया है. केरल के दोनों प्रभावित जिलों में नियंत्रण और रोकथाम का काम पूरा कर लिया गया है. राज्य को अभियान के बाद निगरानी कार्यक्रम संबंधी दिशानिर्देश जारी किए गए हैं. इस बीच प्रभावित इलाकों में हालात पर निगरानी के लिए गठित केंद्रीय दल प्रभावित क्षेत्रों का दौरा कर रहे हैं.
केंद्र ने राज्यों से जनता के बीच जागरुकता फैलाने तथा एवियन इन्फ्लुएंजा के बारे में गलत सूचनाएं फैलने से रोकने को कहा. बयान में कहा गया, ‘‘राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों से तालाबों, पक्षी बाजारों, चिड़ियाघरों, पोल्ट्री फार्मों आदि के आसपास निगरानी बढ़ाने, मृत पक्षियों के उचित निस्तारण तथा पोल्ट्री फॉर्मों में जैव-सुरक्षा को मजबूत करने का अनुरोध किया गया है.’’
समाचार साभार – न्यूज़ 18